सिहोरा में बसों में नहीँ रहा किसी का बस,कब बनेगा हाईटेक बस स्टैंड ?

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जबलपुर :सिहोरा शहर की आबादी बढ़ने एवं यातायात साधनों के विस्तार के बाद से ही नया बस स्टैंड बनाने की मांग की जाती रही है.बर्षो से उठ रही इस मांग के बाद आख़िरकार पालिका और प्रशासन ने इसे गंभीरता से लेते हुए शहर की बाहरी हिस्से में नये बस स्टैंड का आधा अधूरा निर्माण तो कर दिया लेकिन बसों का संचालन आज भी पूर्व की भांति अभी भी पुराने बस स्टैंड से ही हो रहा है जिसके चलते अतिक्रमण से घिरे पुराना बस स्टैंड में मुख्य मार्ग पर बसों के खड़े होने से न केवल जान की स्थिति निर्मित होती है बल्कि आए दिन दुर्घटनाएं घटित हो रही हैं।

लगभग एक सैकड़ा यात्री बसों का संचालन*

वही यदि बात  नगर की आवादी एंव आवश्यकता की कि जाये तो हाईटेक बस स्टैंड की जरूरत है क्योंकि रीवा नागपुर शहडोल पन्ना जैसे प्रमुख मार्गों की यात्री बसों के अलावा ग्रामीण परिवहन मझौली मझगवां कुडंम पान उमरिया ढीमरखेड़ा बहोरीबंद बाकल लमकना बचैया आदि मार्गों की लगभग एक सैकड़ा बसों का संचालन किया जाता है। यात्री बस सुविधाओं के लिए यहां नए आधुनिक और सर्व सुविधा युक्त बस स्टैंड का निर्माण जरूरी है। नगर को हाईटेक बस स्टैंड की आवश्यकता लंबे समय से महसूस हो रही है। लेकिन प्रशासन की बेरुखी के चलते नगरवासियो का सपना महज कागजों तक सीमित होकर रह गया है, जबकि लोग लंबे समय से इसकी राह तक रहे हैं।

*मुख्य मार्ग पर बस खड़ी करने से अराजकता*

शाहू और अतिक्रमण के चलते यात्री वर्षों को बस स्टैंड प्रांगण में प्रवेश हेतु जगह न मिलने के कारण यात्री बस मुख्य मार्ग पर बस खड़ी कर सवारी उतरते चढ़ाते हैं जिसके कारण बस के आगमन के समय न केवल अराजक स्थिति उत्पन्न हो जाती है बल्कि मुख्य मार्ग में जाम भी लग जाता है। सिहोरा थाने के सामने स्थित पुरानी बस स्टैंड में दिन में अनेकों बार जाम की स्थिति निर्मित होने के बावजूद सिहोरा पुलिस का मोन नगर में चर्चा का विषय बना हुआ है।लोगों का कहना है कि हाईटेक बस स्टैंड शहर के लिए बेहद जरूरी है यहां आये दिन ट्रैफिक जाम की स्थिति होती है इसके अलावा पुराने बस स्टैंड में सुविधाओं की कमी है।

*विकल्प मौजूद मगर इच्छा शक्ति की कमी*

यात्री बसों का संचालन नए बस स्टैंड से किए जाने पर यात्री बस नये बस स्टैंड से सीधे नेशनल हाईवे से गंतव्य को प्रस्थान कर सकती हैं जिससे नगर के आंतरिक मार्ग पर यातायात का दबाव काम हो जाएगा वही निर्माणाधीन वन वे मार्ग पर बड़े वाहनों की धमा चौकड़ी समाप्त होने से दुर्घटनाओं की आशंका पर भी विराम लग जाएगा।

 


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