श्रीराम की खड़ाऊं लेकर लौटे भरत, सीता हरण, दशरथ निधन के भावुक प्रसंगों ने भिगोए दर्शकों के नयन

राजेश मदान बैतूल। गंज रामलीला मैदान में चल रहे रामलीला महोत्सव के सातवें दिन 27 सितंबर को श्री कृष्ण पंजाब सेवा समिति के तत्वावधान में भावनाओं से भरपूर रामायण के कई महत्वपूर्ण प्रसंगों का मंचन किया गया। आदर्श श्री इंद्रलोक रामलीला मंडल खजूरी के कलाकारों द्वारा मंचित प्रसंगों में केवट संवाद, राजा दशरथ का मरण, भरत मिलाप और सीता हरण जैसे दृश्यों ने श्रद्धालुओं को भावविभोर कर दिया।राम, लक्ष्मण और सीता के वनवास के दौरान गंगा तट पर हुए केवट संवाद के दृश्य ने भगवान श्रीराम की सरलता और केवट की भक्ति को इस तरह मंचित किया कि दर्शकों के मन श्रद्धा से भर उठे। इसके बाद जैसे ही राजा दशरथ का पुत्र वियोग में प्राण त्यागने का दृश्य आया, पूरे पांडाल में शांति छा गई। कलाकारों की प्रस्तुति इतनी जीवंत थी कि दशरथ जी के वियोग में तड़पकर प्राण त्यागने की पीड़ा हर दर्शक के चेहरे पर झलकने लगी।इसके उपरांत भरत का चित्रकूट पहुंचकर भगवान श्रीराम से मिलना, उनसे अयोध्या लौटने का आग्रह करना और श्रीराम द्वारा वचनबद्ध होकर मना करने का दृश्य अत्यंत भावनात्मक रहा। भरत द्वारा श्रीराम की खड़ाऊं को सिर पर रखकर अयोध्या लौटने के दृश्य ने तो पूरे रामलीला मंचन को एक नई ऊंचाई दी। रामभक्तों की आंखें इस भावुक प्रसंग से अश्रुपूरित हो उठीं।
इसके पश्चात सीता हरण का दृश्य मंचित हुआ, जिसमें मायावी रावण साधु का वेश धारण कर सीता माता का हरण कर लेता है। जैसे ही सीता माता लक्ष्मण रेखा पार करती हैं, रावण अपना राक्षसी स्वरूप धारण कर उन्हें रथ में बिठाकर ले जाता है। इस दौरान जटायु द्वारा रावण से युद्ध कर सीता जी को बचाने का प्रयास और वीरगति प्राप्त करने का दृश्य अत्यंत मार्मिक रहा, जिसने दर्शकों के हृदय को गहराई से छू लिया।इन सभी प्रसंगों का मंचन आदर्श श्री इंद्रलोक रामलीला मंडल खजूरी के कलाकारों ने अत्यंत सजीवता से किया, जिससे रामलीला मैदान में उपस्थित श्रद्धालु बार-बार तालियों से भावनाएं व्यक्त करते रहे। हर दृश्य में संवाद, भाव-भंगिमा और भावनात्मक अभिव्यक्ति ने दर्शकों को रामायण काल में ले जाकर खड़ा कर दिया।
आज रामलीला में होगा लंका दहन
रामलीला महोत्सव के आज के मंचन में हनुमान परिचय, सुग्रीव से मित्रता, बाली वध और लंका दहन जैसे दृश्य मंचित किए जाएंगे। रावण की लंका में प्रवेश कर हनुमान द्वारा अपनी शक्ति का प्रदर्शन और लंका को आग के हवाले करने वाले दृश्य का सभी श्रद्धालुओं को बेसब्री से इंतजार है। रामभक्तों में आज की लीला को लेकर विशेष उत्साह है और आयोजक मंडल भी भव्य आयोजन की तैयारियों में जुटा है।
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